Koo के सह-संस्थापक ने लॉन्च किया दुनिया का पहला AI-संचालित म्यूचुअल फोटो शेयरिंग ऐप ‘PicSee’

By
On:
Follow Us

कानपुर। सीरियल उद्यमी मयंक बिदावतका (Koo के सह-संस्थापक) द्वारा स्थापित बिलियन हार्ट्स सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजीज़ ने दुनिया का पहला AI-संचालित म्यूचुअल फोटो शेयरिंग ऐप ‘पिकसी’ (PicSee) लॉन्च किया है। यह ऐप दोस्तों की गैलरी में छिपी आपकी अनदेखी तस्वीरों को वापस आप तक पहुँचाने का काम करता है, वो भी ‘प्राइवेसी-फर्स्ट’ एप्रोच के साथ।


Quick Highlights

  • पिकसी (PicSee) दुनिया का पहला AI-संचालित म्यूचुअल फोटो शेयरिंग ऐप है।
  • इसे Koo के सह-संस्थापक मयंक बिदावतका ने स्थापित किया है।
  • ऐप एक अनोखे ‘देकर पाओ’ फोटो एक्सचेंज मॉडल पर काम करता है।
  • सफल सॉफ्ट लॉन्च के बाद, पिकसी के यूज़र्स की संख्या सिर्फ तीन महीनों में 75 गुना बढ़ी है, और यह 27 देशों में फैल चुका है।
  • पिकसी को प्राइवेसी-फर्स्ट एप्रोच के साथ बनाया गया है, तस्वीरें सर्वर पर स्टोर नहीं होतीं और ट्रांसफर के दौरान एन्क्रिप्ट रहती हैं।

आज के दौर में हर कोई फोटोग्राफर है, पर खरबों तस्वीरें खींचने के बाद भी, हमारे दोस्तों की गैलरी में हमारी हजारों तस्वीरें ‘गुमनाम’ रह जाती हैं। पिकसी इसी समस्या का एक तकनीकी समाधान लेकर आया है। जुलाई के मध्य में सफल सॉफ्ट लॉन्च के बाद, पिकसी अब अपने पब्लिक बीटा के साथ आधिकारिक रूप से लॉन्च हो रहा है। यह ऐप 27 देशों और 160 से ज़्यादा शहरों में यूज़र्स तक पहुंच चुका है।

पिकसी के संस्थापक मयंक बिदावतका ने बताया कि दुनिया में 15 ट्रिलियन से ज़्यादा तस्वीरें हैं, पर उनका बड़ा हिस्सा कभी शेयर नहीं होता। उन्होंने कहा: “पिकसी इस समस्या का सबसे सुंदर समाधान है। यह एक ऐसा जादुई तरीका है, जिससे आप अपने दोस्तों से हजारों तस्वीरें पा सकते हैं, वह भी बिल्कुल सुरक्षित रूप से।”

बिदावतका का मानना है कि फोटो शेयर न होने की वजह तकनीक की कमी नहीं, बल्कि मोटिवेशन की कमी थी। पिकसी इसे एक सरल विचार से दुरुस्त करता है: ‘मुझे मेरा दो, मैं तुम्हें तुम्हारा दूँ।’ उन्होंने बताया कि 30% यूज़र्स के पास पिकसी पर अपनी खुद की गैलरी से भी ज़्यादा तस्वीरें हैं।

Also Read: जर्मनी ने लॉन्च किया यूरोप का सबसे शक्तिशाली सुपरकंप्यूटर ‘Jupiter’, AI

पिकसी का सिस्टम पूरी तरह से AI पर आधारित है। यह अपनी विशेष फेशियल रिकग्निशन तकनीक से यूज़र की गैलरी स्कैन करता है और दोस्तों को पहचानता है। यह एक पर्सनलाइज्ड इनवाइट भेजता है, जैसे: “मेरे पास तुम्हारी 75 तस्वीरें हैं। उन्हें पिकसी पर आकर लो।”

जब दोस्त इनवाइट स्वीकार करते हैं, तो वे अपने फोन से उन तस्वीरों को शेयर करते हैं जो उन्होंने पहले ली थीं। यह पेटेंट-पेंडिंग सिस्टम सुनिश्चित करता है कि दोनों पक्षों को उनकी तस्वीरें मिलें, वह भी बिना किसी मैन्युअल मेहनत और गोपनीयता के समझौते के।

पिकसी की नींव गोपनीयता और सुरक्षा पर रखी गई है। यह ऐप कभी भी तस्वीरों को अपने सर्वर पर सेव नहीं करता; सभी फोटोज़ यूज़र के डिवाइस पर ही रहती हैं और ट्रांसफर के दौरान एन्क्रिप्ट होती हैं।

मुख्य गोपनीयता सुरक्षा के बिंदू:

  • पिकसी सर्वर पर कोई फोटो स्टोर नहीं होती।
  • ऐप में स्क्रीनशॉट्स की अनुमति नहीं है।
  • आउटगोइंग फोटो के लिए 24 घंटे की समीक्षा अवधि मिलती है।
  • साझा की गई तस्वीरों को कभी-भी वापस लेने का विकल्प मौजूद है।

ये फीचर्स पिकसी को दुनिया के सबसे सुरक्षित फोटो प्लेटफॉर्म्स में से एक बनाते हैं।

FAQs

  1. पिकसी (PicSee) ऐप क्या है और इसे किसने लॉन्च किया है? पिकसी दुनिया का पहला AI-संचालित म्यूचुअल फोटो शेयरिंग ऐप है। इसे बिलियन हार्ट्स सॉफ्टवेयर टेक्नोलॉजीज़ ने लॉन्च किया है, जिसकी स्थापना Koo के सह-संस्थापक मयंक बिदावतका ने की है। ऐप का उद्देश्य दोस्तों की गैलरी में छिपी आपकी अनदेखी तस्वीरों को वापस लाना है।
  2. पिकसी ऐप की प्राइवेसी सुरक्षा कैसे काम करती है? पिकसी एक प्राइवेसी-फर्स्ट ऐप है। यह अपने सर्वर पर कोई भी फोटो स्टोर नहीं करता। तस्वीरें यूज़र के डिवाइस पर रहती हैं और ट्रांसफर के दौरान एन्क्रिप्टेड होती हैं, ताकि कोई भी कर्मचारी उन्हें देख न सके। साथ ही, यूज़र्स को साझा करने से पहले 24 घंटे की रिव्यू विंडो मिलती है।
  3. ‘देकर पाओ’ फोटो एक्सचेंज मॉडल क्या है? ‘देकर पाओ’ मॉडल का मतलब है म्यूचुअल एक्सचेंज। पिकसी AI के माध्यम से दोस्तों को पहचानता है और उन्हें बताता है कि आपके पास उनकी कितनी तस्वीरें हैं। जब दोस्त इनवाइट स्वीकार करते हैं, तभी दोनों पक्षों के बीच तस्वीरों का सुरक्षित और स्वचालित रूप से आदान-प्रदान होता है।

पिकसी का यह लॉन्च दिखाता है कि AI अब सोशल नेटवर्किंग और हमारी यादों को सुरक्षित रखने के तरीके को बदल रहा है। यह ऐप तकनीक, सुरक्षा और भावनात्मक जुड़ाव का एक सुंदर संगम है।

आयुष गुप्ता, संवाददाता

मोबाइल: 94503 16232, कानपुर, उत्तर प्रदेश

(आयुष गुप्ता कानपुर में पिछले 7 वर्षों से कॉर्पोरेट जगत, व्यापार और स्टार्टअप खबरों पर पत्रकारिता कर रहे हैं।)

#MPJankrantiNews #Jankranti #जनक्रांति #PicSee #AIApp #PhotoSharing #MayankBidawatka #Koo #StartupNews

👉 ताज़ा अपडेट और स्थानीय खबरों के लिए जुड़े रहें MP Jankranti News के साथ।

Jankranti

MP Jankranti News — मध्यप्रदेश की 7.33 करोड़ जनता की आवाज़। बिना भेदभाव के खबरें, समस्याएं और समाधान सीधे आप तक।

For Feedback - newsmpjankranti@gmail.com

Related News

Leave a Comment