देश में कई तरह के फलो की खेती की जाती है और अनार एक स्वादिष्ट और पौष्टिक फल है जिसकी खेती भारत में व्यापक रूप से की जाती है। इसकी मांग साल भर बनी रहती है और अगर आप भी अनार की खेती करना चाहते हैं, तो आइये जानते है इसके बारे में. .
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अनार की खेती के लिए उपयुक्त जलवायु और मिट्टी
अनार गर्म और शुष्क जलवायु में अच्छी तरह से उगता है। इसे कम वर्षा वाली जगहों पर उगाया जा सकता है। अनार के लिए हल्की, रेतीली दोमट मिट्टी सबसे अच्छी होती है। अच्छी जल निकास वाली मिट्टी में अनार के पौधे अच्छी तरह से विकसित होते हैं। अनार के पौधे को लगाने का सबसे अच्छा समय मानसून के मौसम के बाद या सर्दियों के शुरुआत में होता है।
अनार की लोकप्रिय किस्में
- भाकरी
- गंगा-4
- मृदुला
- रबी
- भगवा सिंदूरी किस्म
अनार के पौधे लगाने की विधि
इसको लगाने के लिए 1 मीटर x 1 मीटर x 1 मीटर के गड्ढे तैयार करें। अब गड्ढे में गोबर की खाद और जैविक खाद डालें। पौधे को गड्ढे में इस तरह से लगाएं कि ग्राफ्टिंग वाली जगह जमीन से 5-7 सेंटीमीटर ऊपर रहे। पौधे को नियमित रूप से पानी दें।
अनार की देखभाल
अनार को नियमित रूप से पानी दें, खासकर गर्मी के मौसम में। समय-समय पर पौधे को जैविक खाद और उर्वरक दें। खरपतवारों को हटाने के लिए नियमित रूप से गुड़ाई करें। पौधे को समय-समय पर छांटें ताकि वह अच्छी तरह से विकसित हो सके। कीटों और रोगों से बचाने के लिए आवश्यक उपाय करें।
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अनार की कटाई
अनार के फल पकने में लगभग 10-12 महीने का समय लगता है। जब फल का रंग लाल हो जाए और छिलका चमकदार हो जाए तो उसे तोड़ सकते हैं। एक अनार के पौधे से 25 किलो अनार निकलता है. यह मार्किट में कम से कम 70 रुपये प्रति किलो तक बिकता है.