कच्चे टमाटर की तरह दिखता है यह फल, हार्ट से कमजोर पेशेंट के लिए पेनकिलर का काम करता है

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टेण्डू का नाम सुनते ही शायद आपके दिमाग में बीड़ी बनाने वाले पत्ते आते होंगे. लेकिन क्या आप जानते हैं कि टेण्डू का फल भी औषधीय गुणों का खजाना है? जी हां, पहाड़ी जंगलों में उगने वाला टेण्डू फल आयुर्वेद में बहुत महत्व रखता है.

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टेण्डू का पेड़ हमारे लिए कई तरह से उपयोगी है. रोजगार के क्षेत्र की बात करें तो इसके पत्तों से बीड़ी बनाई जाती है, जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में महिलाओं को रोजगार मिलता है. वहीं, आयुर्वेद में इस पेड़ को एंटी-ऑक्सीडेंट्स का बेहतरीन स्रोत माना जाता है.

टेण्डू के फायदे – आयुर्वेद की दृष्टि से

आयुर्वेदाचार्य डॉ. अनुराग अहिरवार का कहना है कि जंगली तौर पर उगने वाले इस फल का इस्तेमाल कई बीमारियों के इलाज में किया जाता है. टेण्डू में एंटीऑक्सीडेंट और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण पाए जाते हैं, जो शरीर की सूजन को कम करने में कारगर हैं. सालों पुराने जोड़ों के दर्द से लेकर शरीर के हर दर्द का इलाज टेण्डू के फल में माना जाता है. कच्चे टमाटर की तरह दिखता है यह फल, हार्ट से कमजोर पेशेंट के लिए पेनकिलर का काम करता है

टेण्डू का फल मीठा होता है और पोषक तत्वों से भरपूर होता है. इसमें विटामिन A पाया जाता है, जो मरीजों की आंखों की रोशनी बढ़ाने में मददगार है. इसके अलावा, यह फल मोतियाबिंद जैसी बीमारी को दूर करने में भी सहायक होता है.

आयुर्वेद डॉक्टर डॉ. अनुराग अहिरवार ने बताया कि टेण्डू का फल हृदय रोगियों के लिए भी फायदेमंद है. इसमें कोलेस्ट्रॉल को कंट्रोल करने के साथ-साथ ब्लड प्रेशर को भी नियंत्रित करने वाले गुण होते हैं.

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